आखिर ऐसा क्या हुवा जो बीसीए की पढ़ाई छोड़ बनाया गैंग..
चुराने लगा लग्जरी कारें..
देश – दुनिया : आगरा पुलिस ने लग्जरी कारों की चोरी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश किया है। यह गिरोह आगरा, लखनऊ और प्रयागराज से लग्जरी कारों को चुराकर बिहार और पश्चिम बंगाल में बेचता था। पुलिस ने गिरोह के सरगना सहित पांच शातिरों को गिरफ्तार किया है। सरगना कानपुर का रहने वाला है।
वह बीसीए की पढ़ाई छोड़कर गैंग बनाकर वारदात करने लगा। शातिर बदमाश इलेक्ट्रॉनिक उपकरण से हाईटेक लॉक को पांच से दस मिनट में तोड़ देते थे। पुलिस से बचने के लिए कार के फर्जी कागजात भी तैयार कर लेते थे। इसके बाद वाहनों की बिक्री बिहार और पश्चिम बंगाल में कर देते थे। इस गिरोह ने आगरा से विधायक की कार चोरी कर बिहार में शराब तस्करों को बेची थी।
एसपी सिटी विकास कुमार ने बताया थाना हरीपर्वत, कमला नगर और न्यू आगरा पुलिस ने संयुक्त कार्रवाई करते हुए आदित्य, मोहम्मद आरिफ, जयप्रकाश पांडेय, प्रेम कुमार कुशवाहा और विपिन कुमार को गिरफ्तार किया है। उनके पास से चोरी की मारुति स्विफ्ट कार, 18 फर्जी नंबर प्लेट, ग्राइंडर मशीन किट बॉक्स, कलर प्रिंटर, चार डिवाइस, 53 इलेक्ट्रॉनिक चाबी, छह मास्टर चाबी सहित अन्य औजार और उपकरण के साथ 14500 रुपये, छह मोबाइल बरामद किए हैं।
पुलिस ने बताया कि शहर में कार चोरी करने वाला गैंग सक्रिय था। इनकी धरपकड़ के प्रयास किए जा रहे थे। कमला नगर से एक महीने पहले सादाबाद से रालोद विधायक प्रदीप चौधरी की स्कॉर्पियो गाड़ी को भी चोरी किया गया था। यह कार बिहार के गोपालगंज जिले के एक थाने में खड़ी हुई थी। कार शराब तस्करी में इस्तेमाल हुई थी। उसे बिहार पुलिस ने कब्जे में लिया था। चोरों ने शराब तस्करी करने वाले गैंग को कार बेच दी थी। सीसीटीवी फुटेज से पुलिस को गैंग के बारे में पता चला। इसके बाद गैंग आगरा में एक और वारदात करने वाला था। इसी दौरान पुलिस ने घेराबंदी करके पकड़ लिया।
एसपी सिटी ने बताया कि गैंग का मास्टरमाइंड आदित्य है। वह कानपुर के किदवई नगर में रहता है। मूलरूप से मैनपुरी के बेवर का रहने वाला है। वह बीसीए कर रहा था, बीच में पढ़ाई छोड़ दी थी। उसे तकनीकी की जानकारी है। इस कारण लग्जरी कार चोरी करने लगा। मोहम्मद आरिफ फिरोजाबाद का रहने वाला है। वह चोरी की घटनाओं में साथ रहता है। वाहनों की रेकी करता है।
जयप्रकाश पांडेय उर्फ छोटू कानपुर का रहने वाला है। वह गाड़ियों का लॉक पांच से दस मिनट में उपकरणों की मदद से तोड़ देता है। इसके बाद इलेक्ट्रानिक चाबी तैयार कर लेता है। प्रेम कुमार सिवान, बिहार और विपिन कुमार प्रयागराज के रहने वाले हैं। दोनों औजार रखने का काम करते थे।
आरोपी प्रिंटर से फर्जी आरसी तैयार करते थे, जिससे रास्ते में पुलिस के रोकने पर कागजात दिखा सकें। बेचने में भी इन्हीं कागजात का प्रयोग करते थे। चार डिवाइस से गाड़ियों को हैक करते थे। आदित्य के खिलाफ आगरा के अलावा प्रयागराज और लखनऊ में नौ मुकदमे दर्ज हैं। वहीं आरिफ पर नौ, जयप्रकाश पर आठ, प्रेम कुमार पर सात और विपिन पर तीन मुकदमे दर्ज हैं।