कभी भी लुढ़ककर बद्रीनाथ जाने वाली सड़क पर गिर सकता है भारी भरकम बोल्डर..
उत्तराखंड: जोशीमठ के नृसिंह मंदिर मार्ग पर जोशीमठ महाविद्यालय के ठीक शीर्ष भाग में स्थित एक बोल्डर भू-धंसाव से अस्थिर हो गया है। बोल्डर के नीचे जमीन पर दरारें आ गई हैं। जिससे यह भारी भरकम बोल्डर कभी भी निचले क्षेत्र में लुढ़क सकता है, जिससे निचले क्षेत्र में बद्रीनाथ धाम जाने वाली सड़क और महाविद्यालय के भवनों को नुकसान हो सकता है। लोक निर्माण विभाग की ओर से अभी तक यहां सुरक्षा के कोई इंतजाम भी नहीं किए गए हैं। जोशीमठ के अधिकांश हिस्से में बोल्डर पसरे हुए हैं। ये बोल्डर यहां सदियों से जमे हुए हैं। अब भू-धंसाव होने पर इन बोल्डरों से भी लोगों को खतरा बना हुआ है।
सिंहधार वार्ड में आबादी क्षेत्र के समीप स्थित बोल्डर के समीप खेतों में दरारें पड़ी हैं। जबकि यहां स्थित एक आवासीय मकान का किचन और बाथरूम भी भू-धंसाव की चपेट में आ गया है। पूर्व सभासद ललिता देवी का कहना है कि नृसिंह मंदिर मार्ग के ऊपरी क्षेत्र में बोल्डर के नीचे जमीन में दरारें आ गई हैं। जिससे सड़क और महाविद्यालय को खतरा बना हुआ है।
वहीं, भू-धंसाव से सबसे अधिक प्रभावित सिंहधार वार्ड में अब भी मकान धंस रहे हैं। यहां कई मकानों की छत, आंगन और कमरे धंस गए हैं जबकि पूर्व में एक मंदिर भी भू-धंसाव से क्षतिग्रस्त हो गया था। सिंहधार वार्ड के प्रभावित क्षेत्र में चार आवासीय भवन डेंजर जोन में हैं।इन मकानों की छत और आंगन धंस गए हैं। बाथरूम और कीचन भी तिरछे हो गए हैं। आपदा प्रभावित हरीश लाल, बलमती देवी और कन्हैया लाल का कहना हैं कि क्षेत्र में लगातार भू-धंसाव हो रहा है।
हमारे मकान आंखों के सामने ही टूट रहे हैं। रात काे राहत शिविरों में रहने के बाद दिन में एक बार अपने घरों को देखने पहुंच रहे हैं। कई मकानों की छत टूट गई है तो कई के आंगन धंस गए हैं। सरकार की ओर से पुनर्वास के संबंध में कोई निर्णय अभी तक नहीं लिया गया है।