ई- पास न मिलने से रोते बिलखते रहे केदारनाथ जाने वाले श्रद्धालु, पढ़िए पूरी खबर..
उत्तराखंड: प्रदेश में बाहरी लोगों के साथ जिस तरह का रवैया सरकार अपना रही है वह बेहद शर्मनाक है। यह तो आप जानते ही होंगे कि केदारनाथ यात्रा का संचालन शुरू हो चुका है लेकिन केदारनाथ यात्रा करने वालों को आखिर किन मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा है, उत्तराखंड में केदारनाथ यात्रा भले ही शुरू हो चुकी हो मगर कोविड के कारण सरकार ने रोजाना दिए जाने वाले पासों की न्यूनतम लिमिट तय की हुई है और चुनिंदा लोगों को ही पास मिलते हैं।
ऐसे में बाहरी राज्यों से आने वाले लोग केदारनाथ के दर्शन नहीं कर पा रहे हैं। दोपहर 1 बजे केदारनाथ पहुंच रहे श्रद्धालुओं तक को पास नहीं मिल रहा है। बाहर से आने वालों के साथ प्रशासन बेहद अपमानजनक रवैया अपनाता हुआ दिख रहा है।
देश के कोने-कोने से यात्री सैकड़ों मील की यात्रा तय कर इस कोरोना के भय के बीच केदारनाथ दर्शन के लिए आना चाह रहे हैं मगर उनको रास्ते में ही रोक दिया जाता है। प्रशासन यह तक भूल जाता है कि यात्रा करने वालों में महिलाएं, बच्चे और बुजुर्ग भी शामिल हैं।
ई-पास न मिलने के कारण यात्रियों को रास्ते में ही रोक दिया जाता है। ऐसे में स्थानीय लोग लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं और सरकार से पास लिमिट को बढ़ाने की पुरजोर मांग कर रहे हैं। स्थानीय लोग बाहरी राज्यों से आने वाले लोगों के साथ में खड़े होकर उनके लिए न्याय की मांग कर रहे हैं।
केदारनाथ दर्शन करने आया एक दंपति केदारनाथ धाम के दर्शन ना करने पर रो रहा है और स्थानीय लोग प्रशासन के विरुद्ध विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। स्थानीय लोगों का कहना है कि दूरदराज क्षेत्रों से आए हुए लोग केदारनाथ धाम जाना चाहते हैं मगर उनको रास्ते में ही रोक दिया जा रहा है।