चारधाम यात्रा के लिए आठ मई से होंगे आफलाइन रजिस्ट्रेशन..
उत्तराखंड: प्रदेश में 10 मई से चारधाम यात्रा शुरू होने वाली है इसके लिए सरकार ने पूरी व्यवस्था कर दी है। सरकार ने ऑनलाइन पंजीकरण के साथ ही ऑफलाइन पंजीकरण के द्वार खोल दिये हैं, अब श्रद्धालु ऋषिकेश और हरिद्वार से ऑफलाइन पंजीकरण भी करवा पाएंगे। शनिवार को पर्यटन विभाग की बैठक में यह निर्णय लिया गया है बता दें कि अब श्रद्धालु 8 मई से ऋषिकेश और हरिद्वार में ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन करवा पाएंगे। मिली जानकारी के अनुसार पर्यटन सचिव सचिन कुर्वे का कहना हैं कि श्रद्धालु हरिद्वार में राही मोटल तथा ऋषिकेश में यात्रा पंजीकरण कार्यालय एवं ट्रांजिट कैम्प में यात्री अपना ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं। प्रत्येक धाम के लिए प्रतिदिन ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन की सीमा ऋषिकेश में एक हजार और हरिद्वार में 500 निर्धारित की गयी है। श्रद्धालु चारों धामों की यात्रा के लिए पंजीकरण काउन्टरों पर अधिकतम तीन दिन के लिए रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं। इसके साथ ही तीर्थ पुरोहितों के साथ समन्वय के लिए अहम फैसला किया गया है। पर्यटन विभाग और तीर्थ पुरोहित महापंचायत के पुरोहित के साथ बैठक में चारों धाम में समन्वय के लिए तीर्थ पुरोहित तय किए गए हैं। हर धाम में दो तीर्थ पुरोहित को इसके लिए चुना गया है।
तीर्थ पुरोहित धामों के यात्रा प्रबन्धन की वास्तविक स्थिति से पर्यटन विभाग को समय पर अवगत करवाते रहेंगे। साथ ही श्रद्धालुओं हेतु अतिरिक्त सुविधाओं के लिए विभाग को अपने सुझाव भी देंगे। पयर्टन सचिव का कहना हैं कि तीर्थपुरोहित और पर्यटन विभाग के समन्वय से यात्रा के दौरान आने वाली समस्याओं को शीघ्रता से हल करने में सुविधा होगी। साथ ही भविष्य के लिए बेहतर योजना तैयार करने में सहायता मिलेगी। उत्तराखंड में चारधाम यात्रा बहुत जल्द शुरू होने वाली है इसके लिए सरकार ने पूरी व्यवस्था कर दी है। सरकार ने ऑनलाइन पंजीकरण के साथ ही ऑफलाइन पंजीकरण के द्वार खोल दिये हैं, अब श्रद्धालु ऋषिकेश और हरिद्वार से ऑफलाइन पंजीकरण भी करवा पाएंगे। शनिवार को पर्यटन विभाग की बैठक में यह निर्णय लिया गया है बता दें कि अब श्रद्धालु 8 मई से ऋषिकेश और हरिद्वार में ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन करवा पाएंगे।
पर्यटन सचिव सचिन कुर्वे ने कहा कि श्रद्धालु हरिद्वार में राही मोटल तथा ऋषिकेश में यात्रा पंजीकरण कार्यालय एवं ट्रांजिट कैम्प में यात्री अपना ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं। प्रत्येक धाम के लिए प्रतिदिन ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन की सीमा ऋषिकेश में एक हजार और हरिद्वार में 500 निर्धारित की गयी है। श्रद्धालु चारों धामों की यात्रा के लिए पंजीकरण काउन्टरों पर अधिकतम तीन दिन के लिए रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं। इसके साथ ही तीर्थ पुरोहितों के साथ समन्वय के लिए अहम फैसला किया गया है। पर्यटन विभाग और तीर्थ पुरोहित महापंचायत के पुरोहित के साथ बैठक में चारों धाम में समन्वय के लिए तीर्थ पुरोहित तय किए गए हैं। तीर्थ पुरोहित धामों के यात्रा प्रबन्धन की वास्तविक स्थिति से पर्यटन विभाग को समय पर अवगत करवाते रहेंगे। साथ ही श्रद्धालुओं हेतु अतिरिक्त सुविधाओं के लिए विभाग को अपने सुझाव भी देंगे। पयर्टन सचिव ने कहा कि तीर्थपुरोहित और पर्यटन विभाग के समन्वय से यात्रा के दौरान आने वाली समस्याओं को शीघ्रता से हल करने में सुविधा होगी। साथ ही भविष्य के लिए बेहतर योजना तैयार करने में सहायता मिलेगी।