उत्तराखण्ड़ : तीन वरिष्ठ जज जबरन सेवानिवृत
कठोर कदम उठाते हुये उत्तराखण्ड में पहली बार उच्च न्यायालय ने न्यायिक सेवा के तीन अधिकारियों को जबरन सेवानिवृत्त कर दिया है। मुख्य न्यायधीश न्यायमूर्ति विपिन सांघी की संस्तुति व राज्यपाल की मंजूरी के बाद उत्तराखण्ड शासन ने तीन वरिष्ठ न्यायिक अधिकारियों को सेवानिवृत्त करने का आदेश जारी कर दिया है।
बीती रात उच्च न्यायालय की वेबसाइट में जारी हुये नोटिफिकेशन में तीन अधिकारियों में श्रम न्यायालय हरिद्वार के पीठासीन अधिकारी, श्रम न्यायालय काशीपुर के पीठासीन अधिकारी व देहरादून के चतुर्थ अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायधीश का नाम शामिल है। राज्यपाल से मंजूरी मिलते ही शासन ने तीनों न्यायिक अधिकारियों की सेवानिवृति का आदेश जारी किया।
उपलब्ध जानकारी के अनुसार तीनों अधिकारियों पर भ्रष्टाचार, कदाचार, प्रलोभन, पद का दुरूपयोग जैसे कई गंभीर मामले के आरोप हैं। उत्तराखण्ड उच्च न्यायालय पूर्व में भी अनियमितता व भ्रष्टाचार की शिकायत पर कई न्यायिक अधिकारियों पर कार्यवाही कर चुका है।